सरकारी माध्यमिक स्कूलों में अब कक्षा नौ से लेकर इंटर तक के विद्यार्थियों की परीक्षा आप्टिकल मार्क रीडर (ओएमआर शीट पर होगी। सरल एप के माध्यम से इसका मूल्यांकन किया जाएगा। इस एप के माध्यम से मूल्यांकन किए जाने में काफी कम समय लगेगा और विद्यार्थियों ने कक्षा में क्या-कुछ सीखा है, वह सामने होगा। यही नहीं इस एप की मदद से मूल्यांकन किए जाने से पूरी व्यवस्था पारदर्शी होगी। विद्यार्थियों को रिजल्ट भी इसी की मदद से उपलब्ध कराया जाएगा।

महानिदेशक, स्कूल शिक्षा विजय किरन आनंद ने बताया कि अभी परिषदीय स्कूलों में कक्षा एक से कक्षा आठ तक के विद्यार्थियों की परीक्षा ओएमआर शीट पर ली गई है। अब नए शैक्षिक सत्र 2023-24 से इसका दायरा बढ़ाकर कक्षा नौ से इंटरमीडिएट तक किया जाएगा। नए शैक्षिक सत्र से माध्यमिक स्कूलों की रेटिंग भी की जाएगी।
इस रेटिंग में विद्यार्थियों का परीक्षा परिणाम भी शामिल है। ऐसे में इस व्यवस्था के लागू होने से स्कूलों की रेटिंग करना भी आसान होगा। स्कूलों में वार्षिक परीक्षा अपने पुराने पैटर्न पर होंगी। वहीं यूपी बोर्ड की हाईस्कूल व इंटरमीडिएट की परीक्षाएं भी अपने प्रारूप पर ही कराई जाएंगी। परीक्षा के बाद शिक्षक ओएमआर शीट को सरल एप पर अपलोड करेंगे और फिर एप के माध्यम से परिणाम घोषित होगा।
माध्यमिक शिक्षा परिषद, उत्तर प्रदेश (Board of High School and Intermediate Education Uttar Pradesh) ने ‘राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020’ के तहत अपनी परीक्षा पद्धति में बड़ा बदलाव किया है. अब यूपी बोर्ड कक्षा 9वीं के छात्र-छात्राएं ओएमआर शीट (Optical Mark Recognition Sheet) पर भी परीक्षा देंगे. कक्षा 9वीं के छात्र-छात्राओं को लिखित परीक्षा के 70 अंकों के प्रश्नपत्र को दो भागों में बांटा गया है.
प्रश्नपत्र के लगभग 30 प्रतिशत अंक यानी 20 अंक का प्रथम भाग बहु विकल्पीय प्रश्न (मल्टीपल च्वॉयस क्वेश्चन) पर आधारित होगा, जिसका उत्तर ओएमआर शीट पर देना होगा. 70 नंबर के प्रश्नपत्र का दूसरा भाग (लगभग 70 प्रतिशत या 50 नंबर का) वर्णनात्मक प्रश्नों का होगा जिसके उत्तर पूर्व से चली आ रही व्यवस्था के अनुसार उत्तर पुस्तिकाओं पर देने होंगे. इन प्रश्नपत्रों में उच्चतर चिंतन कौशल (हॉट्स-हायर ऑर्डर थिंकिंग स्किल्स) से संबंधित सवाल भी रखे जाएंगे.
